पानीपत: पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई का हैंडलर इकबाल काना भारत आने की फिराक में था। इसके लिए वह इकबाल सिद्दीकी के नाम से नया पासपोर्ट बनवा रहा था। पानीपत में पकड़े गए पाकिस्तान के लिए जासूस के आरोपी नोमान इलाही के कैराना में घर से जब्त दस्तावेजों से यह पोल खुली। पुलिस ने गुरुवार को बताया कि नोमान को गिरफ्तारी के बाद वह जासूसी के आरोपी को उसके घर कैराना ले गई थी। जहां से कुछ दस्तावेज और 6 पासपोर्ट मिले थे। इन्हीं में पुलिस को इकबाल काना के पाकिस्तानी पहचान पत्र मिले हैं। नोमान को भेजे थे दस्तावेजपुलिस सूत्रों के मुताबिक उसने नोमान को भेजा था ताकि इन्हें देखकर उसका इकबाल सिद्दीकी के नाम से पासपोर्ट बनवा सके। पुलिस जासूसी के आरोपी नोमान से पूछताछ और इंटेलिजेंस इनपुट के बाद संभावना जता रही है कि इकबाल काना भारत आना चाहता था। वह अपने घर कैराना आने के साथ यहां बनाए ISI एजेंट्स से मिलना चाहता था। पुलिस ने यह भी शक जताया कि वह भारत के खिलाफ कोई बड़ी साजिश रच रहा था। जिसको अंजाम दिलाने के लिए वह पाकिस्तानी एजेंटों से सीधे मिलना चाहता था। नोमान काना के ही रेगुलर टच में थाहालांकि यह तैयारी भारत की पाकिस्तान पर ऑपरेशन सिंदूर एयर स्ट्राइक से पहले की थी। पुलिस ने कहा कि हथियार तस्करी का आरोपी इकबाल 1995 में पाकिस्तान भाग गया था। पुलिस की जांच में यह भी खुलासा हो चुका है कि नोमान काना के ही रेगुलर टच में था। उसके मोबाइल की फरेंसिक जांच में पता चला कि वह काना से चैट करता था। काना उसे वॉयस मैसेज भेजकर टास्क देता था।
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