भीलवाड़ा में फसल मुआवजा एवं जन अधिकार आंदोलन शुक्रवार को शहर के अहिंसा सर्किल पर शुरू हुआ। मंच से वक्ताओं ने किसानों को मुआवजा मिलने तक आंदोलन जारी रखने की चेतावनी दी। मेवाड़ के कई शीर्ष प्रदेश स्तरीय नेताओं की आंदोलन से दूरी ने कांग्रेस पार्टी की आंतरिक गुटबाजी पर सवाल खड़े कर दिए। अहिंसा सर्किल स्थित खटीक समाज छात्रावास में किसानों को संबोधित करते हुए कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव धीरज गुर्जर ने कहा कि राजस्थान के किसान अतिवृष्टि से त्रस्त हैं। उन्होंने कहा, "जब कष्ट होता है, तो आत्मा रोती है। राजस्थान के खेतों में किसानों के सपने चकनाचूर हो गए हैं। मंत्री बिना संवेदना के यात्रा कर रहे हैं। सरकार प्रधानमंत्री का जन्मदिन मनाने में व्यस्त है। राजस्थान की जनता जश्न मना रही है। यह जश्न नहीं, बल्कि जनता के जख्मों पर नमक छिड़कने का काम है।"
"सरकार सो रही है, सत्ता के नशे में चूर है।"
उन्होंने कहा, "किसानों की हर जगह अनदेखी हो रही है। सरकार सो रही है, सत्ता के नशे में चूर है।" अगर सरकार में दम और हिम्मत है, तो सीएम और पीएम से कहो कि हर इंच नुकसान की भरपाई करें। आज मेवाड़ के किसान अपनी बर्बाद फसलों पर खून के आँसू बहा रहे हैं। सरकार देश के किसानों को धोखा दे रही है। उन्होंने उनकी आय दोगुनी करने का वादा किया था, लेकिन आर्थिक तबाही के अलावा कुछ नहीं हुआ। उन्होंने चुनावों को एक धंधा बना दिया है, सिर्फ़ चुनाव जीतने के लिए काम कर रहे हैं।
"जब सड़कें खाली होती हैं, तो संसद भटकती है।"
कोटा से लोकसभा उम्मीदवार प्रह्लाद गुंजल ने आक्रामक रुख अपनाया। उन्होंने कहा कि भाजपा देश भर में मेवाड़ की पहचान बेचती है। उन्होंने मेवाड़ की जनता और राज्य के किसानों को धोखा दिया है। उन्होंने किसानों से कहा कि जब सड़कें खाली होती हैं, तो संसद भटकती है। जब संसद भटकती है, तो लोक कल्याण की भावना गायब हो जाती है, जिससे अराजकता और अव्यवस्था फैलती है। यह सरकार उसी रास्ते पर चल रही है। इस बार, जब किसान लड़ने आएँ, तो हर किसान अपने हाथ में एक लाठी (खेतों में इस्तेमाल होने वाली लाठी) लेकर आए। अगर कोई पुलिसवाला हमला करे, तो उसे लाठी मारो, वह तुम्हें दो बार मारेगा।
प्रमुख नेता अनुपस्थित
भीलवाड़ा जिले की सात विधानसभा सीटों में से पाँच विधायक उम्मीदवार इस विरोध प्रदर्शन में अनुपस्थित रहे। यहाँ तक कि शहर के कांग्रेस उम्मीदवार ओम नराणीवाल भी इसमें शामिल नहीं हुए। जिला कांग्रेस के बैनर तले आयोजित इस आंदोलन का नेतृत्व कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव धीरज गुर्जर ने किया। हालाँकि, कई शीर्ष कांग्रेस नेताओं ने इस कार्यक्रम से दूरी बनाए रखी। भीलवाड़ा से सांसद उम्मीदवार डॉ. सीपी जोशी, राजस्थान कांग्रेस उपाध्यक्ष हंगमीलाल मेवाड़ा और पूर्व मंत्री रामलाल जाट जैसे प्रमुख कांग्रेस नेताओं की इस कार्यक्रम में अनुपस्थिति ने कांग्रेस की एकजुटता की कमी को उजागर कर दिया।
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